भोपाल(ईएमएस)। राजधानी भोपाल में पकड़ाये फर्जी कॉल सेंटर के आरोपियों को बचाने के लिए रिश्वत लेने वाले मुख्य आरोपी सस्पेंड और अब फरार एएसआई पवन सिंह रघुवंशी की अग्रिम जमानत याचिका कोर्ट ने खारिज कर दी है। उल्लेखनीय है कि फर्जी कॉल सेंटर का भंडाफोड़ होने पर मामले में पवन रघुवंशी ने फर्जी कॉल सेंटर के आरोपी अफजल खॉन और मोइन खॉन को बचाने के लिए 4 लाख 95 हजार रुपए की रिश्वत ली थी। फरार आरोपी पवव रघुवंशी की ओर से प्रथम जिला एवं सत्र न्यायाधीश राम प्रताप मिश्र की कोर्ट में अग्रिम जमानत आवेदन पेश किया गया था। पवन की ओर से वकील द्वारा तर्क पेश किया गया था, की परिवार में वही एक कमाने वाला है, इसलिये उसे अग्रिम जमानत का लाभ दिया जाए। लेकिन पुलिस की और से जमानत का विरोध करते हुए कहा गया कि फरार आरोपियों की कॉल डिटेल और बैंक खातों की जांच के साथ ही कई अन्य बिंदुओं पर जांच जारी है, ऐसे में आरोपी को जमानत का लाभ देना उचित नहीं होगा। सुनवाई पूरी होने पर कोर्ट ने उस पर दर्ज अपराध को गंभीर मानते हुए अग्रिम जमानत का लाभ देने से इनकार कर दिया। अब फरार एएसआई के पास के पास हाईकोर्ट जाने का ही एकमात्र रास्ता बचा है। वहीं अफसरो का कहना है की पुलिस टीमें लगातार सभी फरार आरोपी पुलिसकर्मियों की तलाश कर रही हैं। वहीं मामले में टीकमगढ़ के पार्षद अंशुल उर्फ मोना जैन, बीजेपी नेता मोइन खान भी फरार हैं। *पुलिस की हिरासत से फरार हुआ था पवन मामले मे पहले कोर्ट में एसीपी के प्रतिवेदन से साफ हो चुका है, कि पवन को हिरासत में लिया जा चुका था। इसके बाद वह फरार हुआ है, हालांकि पुलिस की ओर से हिरासत से भागने का प्रकरण उसके खिलाफ दर्ज नहीं कराया गया। जिन अधिकारी-कर्मचारियों की हिरासत से वह भागा, उनकी जिम्मेदारी भी तय नहीं की गई है। कोर्ट की ऑर्डरशीट में भी इस बात का जिक्र है, कि हिरासत में लिए जाने के बाद पुलिस ने यह स्पष्ट नहीं किया है, कि पवन को जमानत पर छोड़ा गया अथवा उसे गिरफ्तार किया गया है। *बैंक खाते और कॉल डिटेल खंगाल रही पुलिस फर्जी कॉल सेंटर के कर्मचारियों के करीब 50 खातों की जानकारी पुलिस को मिली थी। साथ ही टीम ने 29 सिम और करीब 100 कंप्यूटर जब्त किये है। गिरोह का मास्टरमाइंड अफजल खॉन जेल में है। आगे की जांच में पता चला कि ऐशबाग टीआई जितेंद्र गढ़वाल और कुछ पुलिसकर्मी कॉल सेंटर संचालकों के साथ मिले हुए थे। लापरवाही और सांठगांठ के आरोप में ऐशबाग टीआई जितेंद्र गढ़वाल समेत 4 पुलिसकर्मियों को भी सस्पेंड किया गया। वहीं थाना प्रभारी जितेंद्र गढ़वाल, एएसआई पवन रघुवंशी, हेड कांस्टेबल धर्मेंद्र सिंह और रिश्वत देते हुए पकड़ाया अंशुल जैन के खिलाफ मामला भी दर्ज किया गया है। बाद में ऐशबाग टीआई जितेंद्र गढ़वाल को हाईकोर्ट से अग्रिम जमानत मिल गई है। जुनेद / 28 मार्च