जीतू पटवारी समेत कई नेता गिरे, कई घायल भोपाल (ईएमएस)। विधानसभा के बजट सत्र के पहले दिन घेराव के इरादे से उतरी किसान कांग्रेस ने रंगमहल चौराहे पर अपना मंच सजाया। कांग्रेस किसान नेताओं का प्रदर्शन उस वक्त हादसे में बदल गया, जब अधिक भार के कारण मंच टूट गया। जीतू पटवारी, हरीश चौधरी समेत कई नेता नीचे गिर पड़े, जिससे राजीव सिंह समेत कई कार्यकर्ताओं और महिलाओं को चोटें आईं। घायल नेताओं को अस्पताल पहुंचाने के लिए एंबुलेंस नहीं मिलने पर निजी वाहनों का उपयोग किया गया। जानकारी के मुताबिक 10 से ज्यादा कांग्रसी घायल हुए हैं। घायलों में मध्यप्रदेश किसान कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष धर्मेंद्र सिंह चौहान भी हैं। कांग्रेस कमेटी के प्रदेश उपाध्यक्ष राजीव सिंह को पसलियों में लोहे की रॉड लगी है। राजीव सिंह, प्रवक्ता रोशनी यादव सिद्धांता अस्पताल के ऑपरेशन थिएटर में हैं। पूर्व विधायक रवि जोशी और शैलेंद्र पटेल स्मार्ट सिटी हॉस्पिटल के ऑपरेशन थिएटर में हैं। घटना की थोड़ी देर बाद ही किसान कांग्रेस के कार्यकर्ता आगे बढ़े। पुलिस ने वाटर कैनन से सभी को आगे बढऩे से रोक लिया। नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा, सरकार किसानों की बात सुनना नहीं चाहती। कांग्रेस किसानों के हक के लिए आवाज उठाती है तो वाटर कैनन छोड़ा जाता है, लाठीचार्ज किया जाता है। पीसीसी चीफ जीतू पटवारी भी प्रदर्शन में शामिल हुए। इसके बाद वे मंच टूटने से घायल हुए नेता और कार्यकर्ताओं से मिले। उन्होंने कहा कि घायलों कि हालत अब ठीक है। नहीं मिली एंबुलेंस हादसे में कई कार्यकर्ताओं और महिलाओं को चोट आई है। घायल नेताओं को अस्पताल ले जाने के लिए एंबुलेंस नहीं मिली तो गाडिय़ों से भेजा गया है। हादसे में राजीव सिंह को ज्यादा चोट आने के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बता दें सुबह से ही मंच सजाने की तैयारी चल रही थी। विधानसभा घेराव को देखते हुए पुलिस भी पूरी तरह से मुस्तैद थी। पुलिस ने रोशनपुरा चौराहे पर बैरिकेडिंग की हुई थी। वाटर कैनन, टियर स्मोक गैस और अन्य सुरक्षा संसाधनों के साथ पुलिस के जवान तैनात किए गए थे। भाजपा नहीं चाहती थी कि प्रदर्शन हो पूर्व नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने मंच टूटने को लेकर कहा, ये भाजपा का षड्यंत्र है। वो चाहती ही नहीं थी कि कांग्रेस का प्रदर्शन हो। बड़ी मुश्किल से मंच लगाने की परमिशन दी, लेकिन मंच के लिए मजबूत पाए लगाने नहीं दिए। और हमारे यहां ये परंपरा है कि मंच पर पदाधिकारी भी मौजूद रहते हैं। ज्यादा भार के कारण मंच टूट गया।