नई दिल्ली (ईएमएस)। हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि फल और उसके जूस में पोषण संबंधी काफी अंतर होता है। जूस पीने से कई जरूरी पोषक तत्वों की कमी हो सकती है, जिससे शरीर को उतना लाभ नहीं मिलता जितना फल खाने से मिलता है। विशेषज्ञों के अनुसार, जब हम पूरा फल खाते हैं, तो हमें विटामिन, मिनरल्स और फाइबर भरपूर मात्रा में मिलते हैं। फाइबर हमारी पाचन क्रिया को बेहतर बनाता है और ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद करता है। यह लंबे समय तक पेट भरा रखने में सहायक होता है, जिससे अनावश्यक कैलोरी सेवन कम होता है और वजन नियंत्रित रहता है। इसके अलावा, नियमित रूप से फल खाने से त्वचा में निखार आता है और शरीर को प्राकृतिक ऊर्जा मिलती है। दूसरी ओर, जब हम फलों का जूस पीते हैं, तो उसमें से फाइबर की मात्रा काफी हद तक कम हो जाती है। जूस में मुख्य रूप से प्राकृतिक शुगर और पानी बचता है, जो जल्दी अवशोषित होकर ब्लड शुगर लेवल को बढ़ा सकता है। हालांकि, जूस पीने से तुरंत ऊर्जा मिलती है और यह शरीर को हाइड्रेट रखने में मदद करता है। जो लोग फल नहीं खा सकते, उनके लिए ताजा जूस एक अच्छा विकल्प हो सकता है, लेकिन यह बिना किसी अतिरिक्त शक्कर के होना चाहिए। डाइटिशियन का कहना है कि फलों में मौजूद फाइबर, एंटीऑक्सीडेंट और प्राकृतिक पोषक तत्व शरीर के लिए बेहद जरूरी होते हैं। जूस से ऊर्जा तो मिलती है, लेकिन यह लंबे समय तक टिकती नहीं है। यही वजह है कि फल खाना अधिक फायदेमंद माना जाता है। विशेषज्ञों की राय में, अगर जूस पीना है तो ताजा फलों का जूस ही पिएं और पैकेज्ड जूस से बचें। पैकेज्ड जूस में प्रिजर्वेटिव्स, फ्लेवर्स और अतिरिक्त शक्कर मिलाए जाते हैं, जिससे सेहत को नुकसान हो सकता है। इसलिए, सेहतमंद रहने के लिए पूरे फल खाने की आदत डालनी चाहिए। बता दें कि फलों को सेहत के लिए बेहद फायदेमंद माना जाता है, लेकिन कई लोग इन्हें खाने के बजाय जूस पीना पसंद करते हैं। डेविड/ईएमएस 23 फरवरी 2025