लातूर, (ईएमएस)। महाराष्ट्र के लातूर में शिवसेना शिंदे के उपजिला प्रमुख विकास जाधव को एक नाबालिग लड़की की आत्महत्या मामले में दस साल जेल की सजा सुनाई गई है। यह फैसला उदगीर के अतिरिक्त जिला सत्र न्यायालय ने सुनाया। यह घटना 2020 में घटी थी। पीड़ित परिवार ने अदालत के फैसले पर संतोष व्यक्त किया। लातूर जिले के उदगीर निवासी विकास जाधव का 2020 में एक नाबालिग लड़की के साथ संबंध था। परिजनों द्वारा बार-बार समझाने के बाद भी वह लड़की और उसके परिजनों को धमकाता रहा। अपने राजनीतिक पद और धौंस का इस्तेमाल करते हुए उसने पीड़िता, नाबालिग लड़की और उसके परिवार को आतंकित किया। - उत्पीड़न से तंग आकर लड़की ने की आत्महत्या अदालत ने कहा कि विकास जाधव का पीड़िता के साथ एक साल तक संबंध था। परिवार ने पुलिस में शिकायत दर्ज नहीं कराई, क्योंकि उन्हें डर था कि ग्रामीण क्षेत्र में उसकी बदनामी होगी, लड़की की शादी नहीं होगी और उन्हें अपमानित होना पड़ेगा। इस डर का वह फायदा उठाते हुए बल प्रयोग करने की कोशिश कर रहा था। आख़िरकार विकास जाधव के उत्पीड़न से तंग आकर उक्त लड़की ने अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। उसके आत्महत्या करने के बाद 3 सितंबर, 2020 को वाढवणा पुलिस स्टेशन में भारतीय दंड संहिता की धारा 376, 506 और 366 के तहत पोक्सो मामला दर्ज किया गया और पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। हालाँकि, कुछ ही दिनों में विकास जाधव को जमानत पर रिहा कर दिया गया। उधर मृत लड़की के पिता ने मामला अदालत में ले जाकर आगे बढ़ाया। पुलिस ने 21 अक्टूबर 2020 को अदालत में आरोप पत्र पेश किया। फिर 2022 में आरोप तय किये गये और सुनवाई शुरू हुई। इस मामले में प्रत्यक्षदर्शियों, पुलिस, विशेषज्ञों, चिकित्सा अधिकारियों और पंचों सहित कुल 13 गवाहों से पूछताछ की गई। पीड़ित लड़की की मौत के मामले में विकास जाधव को दोषी पाया गया और उदगीर स्थित विशेष अतिरिक्त जिला सत्र न्यायालय ने इस मामले में जाधव को दस साल की जेल और पांच हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई। फैसले में कहा गया है कि यदि जुर्माना अदा नहीं किया गया तो उसे छह महीने और जेल में रहना होगा। वहीं, आरोपी को धमकी मामले में भी दोषी करार दिया गया है। संतोष झा- ०५ फरवरी/२०२५/ईएमएस