26-Jan-2025
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संविधान से मिले अधिकारों कर्तव्यों का निष्ठा और प्रतिबद्धता के साथ करें पालन राज्यपाल ने राज्य स्तरीय समारोह में राष्ट्र ध्वज फहराया भोपाल के लाल परेड ग्राउंड में 76वां गणतंत्र दिवस हर्षोल्लास से मनाया गया भोपाल (ईएमएस)। , राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने गणतंत्र दिवस के पावन पर्व पर नागरिकों से आह्वान किया है कि वें एक सशक्त और समृद्ध देश बनाने में अपना सर्वश्रेष्ठ योगदान दें। संविधान से मिले अधिकारों और सौंपे गए कर्तव्यों का अपने आचरण और व्यवहार में पूरी निष्ठा और प्रतिबद्धता के साथ पालन करें। स्वतंत्रता सेनानियों, बाबा साहेब अंबेडकर और संविधान सभा के सदस्यों के आदर्शों को अपने जीवन में आत्मसात करे। उन्होंने कहा कि मुझे गर्व है कि प्रदेश में गण और तंत्र, समान भाव, समर्पण और लगन से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में आत्म-निर्भर भारत की परिकल्पना को मूलमंत्र बनाकर जनसेवा, सुशासन और प्रदेश के चहुमुखी विकास की नई यात्रा में सहभागिता कर रहे हैं। राज्यपाल श्री पटेल भोपाल के लाल परेड ग्राउंड में आयोजित राज्य स्तरीय गणतंत्र दिवस समारोह को संबोधित कर रहे थे। राज्यपाल श्री पटेल ने समारोह में राष्ट्रीय ध्वज फहराया। आकाश में गुब्बारे छोड़े और परेड की सलामी लेकर निरीक्षण किया। उन्होंने सांस्कृतिक कार्यक्रमों, परम्परागत लोकनृत्यों और झांकियों की प्रस्तुति का अवलोकन किया। परेड कमांडरों के साथ ग्रुप फोटो भी खिचवाया। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि प्रदेश के नागरिकों ने प्रधानमंत्री श्री मोदी के पर्यावरण के लिए नव जागृति की पहल एक पेड़ माँ के नाम अभियान में प्रदेश ने साढ़े 5 करोड़ पौधे लगाकर, जल गंगा संवर्धन अभियान में बढ़-चढ़ कर सहभागिता कर सजग-सक्रिय गणतंत्र का आदर्श प्रस्तुत किया है। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश युवाओं, महिलाओं, अन्नदाता किसानों और गरीब वर्ग की समान रूप से उन्नति उनके जीवन को खुशहाल, आसान बनाने तथा शिक्षा, स्वास्थ्य, बुनियादी अधोसंरचना और औद्योगिक क्षेत्र में विकसित प्रदेश के निर्माण के लक्ष्य की ओर तेजी से आगे बढ़ रहा है। प्रधानमंत्री श्री मोदी के “विकसित भारत” के संकल्प के तहत, प्रदेश गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी (GYAN) के सशक्तिकरण पर आधारित चार मुख्य स्तंभों पर कार्य कर रहा है। राज्य सरकार ने इस दिशा में मिशन मोड में कार्य करने के उद्देश्य से गरीब कल्याण मिशन, स्वामी विवेकानन्द युवा शक्ति मिशन, किसान-कल्याण और देवी अहिल्याबाई होल्कर नारी सशक्तिकरण मिशन शुरू किये हैं। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा है कि प्रदेश में आर्थिक विकास को गति देने के लिए निवेश और औद्योगिक विकास की नई इबारत लिखी जा रही है। मध्यप्रदेश, देश और दुनिया के उद्योग समूहों के लिए निवेश का पसंदीदा डेस्टिनेशन बनकर उभर रहा है। प्रदेश में पहली बार स्थानीय स्तर पर औद्योगिक विकास को बल देते हुए संभागों में रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव आयोजित किये गये हैं। उज्जैन, जबलपुर, ग्वालियर, रीवा, सागर, नर्मदापुरम और शहडोल के कॉन्क्लेव और माइनिंग कॉन्क्लेव आयोजित की गई। प्रदेश को ग्लोबल इन्वेस्टमेंट हब बनाने के लिए सरकार ने यू.के. एवं जर्मनी में रोड शो कर खनिज, सेमी कंडक्टर, स्वास्थ्य, ऑटोमोबाइल, इलेक्ट्रॉनिक व्हीकल, नवकरणीय ऊर्जा, शिक्षा और खाद्य प्र-संस्करण जैसे क्षेत्रों में 78 हजार करोड़ रूपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त करने में सफलता प्राप्त की है। फरवरी-2025 में भोपाल में होने वाली ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट की निवेश संभावनाओं को विस्तारित करने के लिए मुम्बई, कोयम्बटूर, बैंगलुरू, कोलकाता और पुणे में रोड शो किये गये हैं। इन सभी प्रयासों से अब तक लगभग 4 लाख 17 हजार करोड़ का निवेश और 4 लाख से अधिक व्यक्तियों को रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि प्रदेश की अमृत पीढ़ी के युवाओं के भविष्य को बेहतर बनाने के आवश्यक संसाधन, अवसर प्रदान करने के हर संभव प्रयास हो रहे हैं। युवा आत्म-निर्भर बन कर सामाजिक-आर्थिक विकास में सक्रिय भूमिका निभाए, इसके लिए उनकी शिक्षा, कौशल उन्नयन एवं स्व-रोज़गार की कई योजनाएं संचालित की जा रही हैं। प्रदेश में खेल गतिविधियों के प्रोत्साहन के सफल परिणाम मिलने लगे हैं। हमारा प्रदेश कृषि क्षेत्र में हमेशा देश में अग्रणी रहा है। किसान भाइयों को उनकी मेहनत की सही कीमत दिलाने से लेकर शून्य ब्याज दर पर ऋण, सिंचाई सुविधाओं के निरंतर विस्तार तथा उनकी हर ज़रूरत और मुश्किल घड़ी में सहायता सुनिश्चित की जा रही है। सरकार ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था की मजबूती के लिए आजीविका के साथ सेवा की नवीन संकल्पना के साथ गौ-संरक्षण और संवर्धन के लिये अनेक नई और अभूतपूर्व पहल की है। गरीबों के कल्याण का हमारा संकल्प अब सिद्धि की ओर बढ़ रहा है। प्रदेश के गरीब वर्ग को पोषण, शिक्षा, स्वास्थ्य और रोज़गार के लिए बराबर के अवसर और सुविधाएँ सुनिश्चित होने से वह सम्मान और आत्म-विश्वास के भाव से आगे बढ़ रहा है। प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) में 36 लाख और शहरी में 44 लाख से अधिक परिवारों को पक्का घर मिला है। पीएम स्वामित्व योजना में 24 लाख से अधिक भू-अधिकार पत्र वितरित किए गए हैं। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी के वर्ष-2047 तक सिकलसेल रोग उन्मूलन के संकल्प की पूर्ति की दिशा में प्रदेश में सक्रियता से काम हो रहा है। मध्यप्रदेश में सिकलसेल स्क्रीनिंग के निर्धारित वार्षिक लक्ष्य के विरूद्ध सर्वाधिक स्क्रीनिंग कर, देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया गया है। अब तक वर्ष 2025 की स्थिति में करीब 90 लाख से अधिक व्यक्तियों की जांच कर शत प्रतिशत लक्ष्य पूरा किया है। अनुसूचित जनजाति बहुल विकास खण्डों में 53 लाख 87 हजार से अधिक आबादी को जेनेटिक कॉउसिंलिंग कार्ड वितरित कर देश में प्रथम स्थान पर है। सरकार द्वारा सिकलसेल प्रभावितों का नि:शुल्क उपचार प्रबंधन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार जनजातीय समुदाय की तरक्की के हर पहलू का ख्याल रख रही है। तेंदूपत्ता संग्राहकों का मानदेय 3 हजार रुपए प्रति बोरा से बढ़ाकर 4 हजार रुपए किया गया है, जिसका लाभ लगभग 35 लाख संग्राहकों को मिल रहा है। छात्रावासों के विद्यार्थियों की समस्याओं के निराकरण एवं मार्गदर्शन हेतु 24x7 मित्र हेल्पलाइन प्रारंभ की गई है। पेसा मोबिलाइजर्स का मानदेय 4 हजार रुपए प्रतिमाह से बढ़ाकर 8 हजार किया जायेगा। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि जनजातीय ग्रामों में योजनाओं की शत-प्रतिशत पूर्ति के लिए धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान प्रारम्भ किया है। अभियान में 11 हजार से अधिक ग्रामों में निवासरत 18 लाख 58 हजार जनजातीय परिवारों की 93 लाख 23 हजार आबादी को लाभान्वित करने का लक्ष्य रखा है। प्रतिभावान विद्यार्थियों को 728 करोड़ रुपए की प्री एवं पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति का भुगतान किया जायेगा। प्रदेश के 89 विकासखंडों में 100-100 सीटर आवासीय छात्रावास बनेंगे। विशेष पिछड़ी जनजातीय की बहनों को वर्ष 2024 में 325 करोड़ रुपए से अधिक की आहार अनुदान सहायता दी गई है। प्रदेश में पीएम जन-मन योजना में तेज गति से विशेष पिछड़ी जनजाति बहुल जिलों के 11 लाख से अधिक भाई-बहनों को लाभान्वित करने 7 हजार 300 करोड़ रुपए के अधोसंरचना कार्य हो रहे हैं। देश में सर्वप्रथम शिवपुरी में 500 पीएम जन-मन आवास एवं बालाघाट में पहली सड़क का निर्माण पूर्ण कर मध्यप्रदेश योजना के क्रियान्वयन में अग्रणी है। उन्होंने कहा कि छिंदवाड़ा में श्री बादल भोई स्मृति एवं जबलपुर में राजा शंकर शाह और रघुनाथ शाह स्मृति जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय बनाए गए हैं। शौर्य संकल्प योजना में बटालियन बनाकर विशेष पिछड़ी जनजाति बैगा, भारिया एवं सहरिया के युवाओं को पुलिस, सेना एवं होमगार्ड में भर्ती के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि मध्यप्रदेश राष्ट्रीय शिक्षा नीति- 2020 लागू करने वाला देश का अग्रणी राज्य है। सभी 55 जिलों में पीएम कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस प्रारंभ हो गए हैं। प्रदेश उच्च शिक्षा के सकल नामांकन अनुपात में राष्ट्रीय औसत से आगे निकल गया है। प्रधानमंत्री श्री मोदी से प्रदेश के विश्वविद्यालयों में उन्नत सुविधाओं के लिए 400 करोड़ रुपए की सौगात मिली है। प्रदेश में 3 नये विश्वविद्यालय, खरगोन में क्रांतिसूर्य टंट्या भील, सागर में रानी अवंतीबाई लोधी एवं गुना में तात्या टोपे विश्वविद्यालय शुरू हो गए हैं। विश्वविद्यालयों के कुलपतियों का पद नाम भी बदलकर कुलगुरु किया है। आगर-मालवा में नया विधि महाविद्यालय प्रारंभ किया जाएगा। भारतीय ज्ञान परम्परा हेतु रामायण व गीता वैकल्पिक विषय के रूप में पाठ्यक्रम में शामिल किए जा रहे हैं। प्रदेश में आयुष चिकित्सा सुविधाओं का विस्तार भी किया जा रहा है। प्रदेश में 800 आयुष आरोग्य मंदिर का संचालन शुरू हो गया है। सागर, शहडोल, नर्मदापुरम, बालाघाट और मुरैना में नए आयुर्वेदिक महाविद्यालय स्थापित किए जाएंगे। प्रदेश के 50 जिला चिकित्सालयों में प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्रों का संचालन प्रारम्भ किया गया है। नए 530 आयुर्वेद चिकित्सा अधिकारियों की नियुक्ति की गई है। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि प्रदेश में सिंचाई सुविधाओं के विकास का नया इतिहास बन रहा है। वर्तमान 50 लाख हेक्टेयर सिंचित क्षेत्र को, वर्ष 2028-29 तक 1 करोड़ हेक्टेयर करने का लक्ष्य है। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने प्रदेश को दो अंतर्राज्यीय नदी जोड़ो परियोजना की सौगात दी है। देश की पहली केन-बेतवा लिंक परियोजना में उत्तरप्रदेश के साथ प्रदेश के बुंदेलखण्ड क्षेत्र के 10 जिलों को पीने के पानी और सिंचाई की सुविधा मिलेगी। राजस्थान के साथ पार्वती-कालीसिंध-चंबल लिंक परियोजना, प्रदेश के 11 जिलों में विकास का नया अध्याय लिखेगी। सिंगरौली जिले में 32 हजार 125 हेक्टेयर में सिंचाई की चितरंगी और दाबयुक्त सूक्ष्म सिंचाई की जावद-नीमच और बहोरीबंद उद्वहन माइक्रो सिंचाई परियोजनाएँ स्वीकृत की गई हैं। राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि नारी सशक्तिकरण के क्षेत्र में सफलता की अनेक कहानियां लिखकर मध्यप्रदेश ने राष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाई है। प्रदेश में स्व-सहायता समूहों के माध्यम से 96 हजार से अधिक दीदियाँ लखपति बनी है और 62 लाख ग्रामीण बहनें आत्म-निर्भर हुई हैं। तीन नए आपराधिक कानूनों को सफलतापूर्वक राज्य में लागू कर मध्यप्रदेश देश में अग्रणी है। समर्पित प्रयासों के फलस्वरूप स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 में इंदौर को लगातार 7वीं बार सबसे स्वच्छ शहर, प्रदेश को दूसरा स्वच्छतम् राज्य और भोपाल को स्वच्छतम् राजधानी के पुरस्कार मिले हैं। मध्यप्रदेश टूरिज्म बोर्ड को देश के बेस्ट टूरिज्म बोर्ड का सम्मान एवं बेस्ट सस्टेनेबल स्टेट टूरिज्म श्रेणी में प्रतिष्ठित ग्लोबल टूरिज्म अवॉर्ड मिला है। मध्यप्रदेश टाइगर और लेपर्ड स्टेट के साथ-साथ अब चीता स्टेट भी बन गया है। भोपाल का रातापानी प्रदेश का 8वां टाइगर रिजर्व बन गया है। मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश और राजस्थान को मिलाकर देश का सबसे बड़ा चीता कॉरिडोर बनेगा। गणतंत्र दिवस राज्य स्तरीय समारोह में सांसद श्री वी.डी. शर्मा, मुख्य सचिव श्री अनुराग जैन, पुलिस महानिदेशक श्री कैलाश मकवाना, राज्यपाल के अपर मुख्य सचिव श्री के.सी. गुप्ता एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। राज्यपाल ने ली परेड की सलामी राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने 76वें गणतंत्र दिवस के मौके पर भोपाल के लाल परेड ग्राउंड में राज्य स्तरीय कार्यक्रम में राष्ट्र ध्वज फहराया और आकर्षक परेड की सलामी ली। राज्यपाल श्री पटेल ने परेड का निरीक्षण किया। इसके बाद परेड कमांडर श्री करणदीप सिंह के नेतृत्व में मार्च पास्ट किया गया। टूआईसी श्री अतुल कुमार सोनी के नेतृत्व में परेड में विभिन्न बलों की 20 टुकड़ियां शामिल थीं। परेड में शामिल कंटीजेंट नम्बर-1 केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल का नेतृत्व निरीक्षक सुरेन्द्र सिंह ने किया। कंटीजेंट नम्बर-2 केन्द्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल, कंटीजेंट नम्बर-3 छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल, कंटीजेंट नम्बर-4 मध्यप्रदेश विशेष सशस्त्र बल (1), कंटीजेंट नम्बर-5 स्पेशल टास्क फोर्स, कंटीजेंट नम्बर-6 विशेष सशस्त्र बल और जिला पुलिस बल (महिला), कंटीजेंट नम्बर-7 जिला पुलिस बल (पुरूष), कंटीजेंट नम्बर-8 जेल विभाग (महिला), कंटीजेंट नम्बर-9 मध्यप्रदेश विशेष सशस्त्र बल (2), कटीजेंट नम्बर-10 मध्यप्रदेश होमगार्ड, कंटीजेंट नम्बर-11 भूतपूर्व सैनिक, कंटीजेंट नम्बर-12 एनसीसी सीनियर डिविजन, एयरविंग और नेवल विंग, बॉयस मिश्रित प्लाटून, कंटीजेंट नम्बर-13 एनसीसी सीनियर विंग, एयर विंग और नेवल विंग गर्ल्स मिश्रित प्लाटून, कंटीजेंट नम्बर-14 स्काउड गाइड बॉयस, कंटीजेंट नम्बर-15 गर्ल्स गाइड छात्रा, कंटीजेंट नम्बर-16 पुलिस बॉयस, कंटीजेंट नम्बर-17 शौर्य दल, कंटीजेंट नम्बर-18 पुलिस बैंड, कंटीजेंट नम्बर-19 श्वान दल और कंटीजेंट नम्बर-20 अश्वरोही दल के रूप में शामिल था। इन 20 दलों ने देशभक्ति की धुन पर आकर्षक मार्च पास्ट किया। परेड के बाद आकाश में तिरंगे के रूप में गुब्बारे छोड़े गये। समारोह में ग्रांउड पर हुई आकर्षक सांस्कृतिक प्रस्तुतियां 76वें गणतंत्र दिवस समारोह में छात्र-छात्राओं ने आकर्षक सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुतियां दीं। अशासकीय सेंट पॉल को-एड हायर सेकण्ड्री स्कूल आनंद नगर के बच्चों ने देशभक्ति के जज्बे से ओतप्रोत प्रस्तुति दी। इस कार्यक्रम में 180 छात्र-छात्राएं शामिल थे। कार्यक्रम के जरिये बताया गया कि देशभक्ति का जज्बा हर एक दिल में उमंग भर देता है और वतन की मिट्टी से जुड़ने का एहसास कराता है। अशासकीय हेमा हायर सेकण्ड्री स्कूल गोविंदपुरा भेल के छात्र-छात्राओं ने भारतीय कला, संस्कृति और विरासत पर केन्द्रित प्रस्तुति दी। प्रस्तुति में बताया गया कि भारतीय संस्कृति का ऐश्वर्य इतना महान है कि सारा संसार हमारी संस्कृति के समक्ष नत-मस्तक है। सांस्कृतिक प्रस्तुतियों में शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय मिसरोद, शासकीय सुभाष उत्कृष्ट उच्चतर माध्यमिक विद्यालय शिवाजी नगर और सीएम राइज स्कूल महात्मा गांधी उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बरखेड़ा के विद्यार्थियों ने रक्षमाम्-धरती की पुकार शीर्षक से प्रस्तुति दी। प्रस्तुति में 70 विद्यार्थी शामिल थे। पर्यावरण संरक्षण और धरती को प्रदूषण रहित बनाये रखने का संदेश दिया गया। भरत नाट्यम नृत्य में आधुनिक फ्यूजन संगीत का प्रयोग किया गया। सांस्कृतिक कार्यक्रमों की श्रंखला में एक भारत-श्रेष्ठ भारत की तर्ज पर अशासकीय होली फेमिली हायर सैकेण्डरी कान्वेंट स्कूल गांधीनगर के नन्हे बच्चों ने प्रस्तुति दी। प्रस्तुति में बताया गया कि देश की विभिन्न भाषाएं, संस्कृतियां और परंपराएं रहने के बावजूद सभी एक सूत्र में बंधे हुए हैं। इन सभी का समावेश करते हुए प्रस्तुतियां दी गई। जनजातीय नृत्यों की प्रस्तुतियां राज्य स्तरीय समारोह में जनजातीय संस्कृति पर केन्द्रित गोण्ड ठाच्या की प्रस्तुति हुई। यह नृत्य जनजातीय समुदाय में दीपावली के बाद किया जाता है। लोक कलाकारों ने बांसुरी की मधुर धुन और हाथ, पैर एवं कमर का सुंदर संयोजन कर विविध मुद्राओं से नृत्य को आकर्षक बनाया। कार्यक्रम में कोरकू जनजाति के गदली-थापटी नृत्य की प्रस्तुति दी गई। लोक कलाकरों ने ठोलक की लय-ताल पर हाथों और पैरों की विभिन्न मुद़ाएं बनाते हुए गोल घेरे में कोरकू नृत्य प्रस्तुत किया। आकर्षक झांकियों का प्रदर्शन गणतंत्र दिवस समारोह में झांकियों के माध्यम से प्रदेश की प्रगति, सुशासन जनभागीदारी से समग्र विकास को प्रदर्शित किया गया। 20 शासकीय विभागों की झांकियों को प्रदर्शन किया गया। उद्यानिकी विभाग की झांकी में उद्यानिकी फसलों से किसानों की बढ़ती आय को दर्शाया गया। प्रदेश में उद्यानिकी मंडियों का संचालन और वर्तमान में 15 उद्यानिकी फसलों का जीआई पंजीयन को प्रदर्शित किया गया। आयुष विभाग की झांकी में आयुष हेल्थ-वेलनेस सेंटर, समुद्र मंथन से आयुर्वेद ज्ञान की प्राप्ति और प्रदेश में अत्याधुनिक आयुर्वेद अस्पतालों के संचालन को प्रदर्शित किया गया। उद्योग विभाग की झांकी में बुधनी के लकड़ी के खिलौने, इन्वेस्टर्स मीट और बुरहानपुर के पावर लूम को दिखाया गया। किसान कल्याण तथा कृषि विभाग की झांकी में दलहन-तिलहन के बढ़ते उत्पादन, रानी दुर्गावती श्रीअन्न योजना से कोदों, कुटकी, रागी, ज्वार, बाजरा के बढ़ते उत्पादन को दिखाया गया। कुटीर एवं ग्रामोद्योग विभाग की झांकी में खादी कपड़े की बुनाई और वस्त्र निर्माण करने की कला, रेशमी वस्त्र कला और माटीकला के पारंपरिक साधनों को विकसित करते हुए इलेक्ट्रिक चरखों से रंगीन कपड़ा बनाने की प्रक्रिया को दिखाया गया। खेल और युवा कल्याण विभाग की झांकी में प्रदेश के 11 खेल अकादमियों के संचालन, खेलेगा इंडिया तभी तो बढ़ेगा इंडिया की गतिविधियों को प्रदर्शित किया गया। प्रदेश की झाँकी में पेरिस ओलंपिक, पैरालम्पिक में 6 खिलाड़ियों द्वारा 3 काँस्य पदक अर्जित करने की उपलब्धि को प्रदर्शित किया गया। गृह विभाग की झांकी में पुलिस बैंड की प्रभावी प्रस्तुति को दिखाया गया। प्रदेश में व्यापक रूप में पुलिस बैंड यूनिट का विस्तार किया जा रहा है। नक्सल प्रभावित क्षेत्र में पुलिस द्वारा जनजातीय समुदाय के लिये चलाये जा रहे जनमैत्री अभियान को दर्शाया गया। जनजातीय कार्य विभाग की झांकी में भीली जनजातीय गोण्ड चित्रांकन के कलाकारों के लिये डिजिटल प्लेटफार्म, जनजातीय क्षेत्रों में सामुदायिक रेडियो का संचालन और जनजातीय न्याय महाअभियान (पीएम जनमन) को दर्शाया गया। जेल विभाग की झांकी में बंदियों को रचनात्मक कार्यों से जोड़ने और प्रशिक्षण की गतिविधियों को दर्शाया गया। तकनीकी शिक्षा एवं कौशल विकास विभाग की झांकी में इलेक्ट्रिक लूम, आधुनिक सोलर ऊर्जा के नये-नये प्रयोग, आईटीआई प्रशिक्षण केन्द्र की गतिविधियों को दर्शाया गया। नगरीय विकास एवं आवास विभाग की झांकी में उज्जैन के महाकाल लोक का निर्माण एवं प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में धार्मिक लोकों के निर्माण को दर्शाया गया। पर्यटन विभाग की झांकी में ओरछा का ऐतिहासिक समूह नामांकन दस्तावेज और पर्यटन की गतिविधियों को प्रदर्शित किया गया। पशुपालन एवं डेयरी विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास विभाग, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा विभाग, स्कूल शिक्षा विभाग, वन विभाग, सहकारिता विभाग और संस्कृति विभाग की झांकी में इन क्षेत्रों में हासिल की गई उपलब्धियों को प्रदर्शित किया गया। पुरस्कार राज्य स्तरीय समारोह में सांस्कृतिक कार्यक्रम में पहला पुरस्कार रक्षमाम्, द्वितीय पुरस्कार हेमा हायर सेकण्ड्री स्कूल के भारत की संस्कृति गाथा और तृतीय पुरस्कार अशासकीय सेंट पॉल को-एड के सामूहिक नृत्य प्रस्तुति देशभक्ति जज्बा को दिया गया। प्रस्तुत झांकियों में प्रथम स्थान संस्कृति विभाग, द्वितीय वन विभाग और तृतीय पुरस्कार जनजातीय कार्य विभाग को दिया गया। परेड परेड में सैन्य दल में प्रथम केन्द्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल, द्वितीय स्पेशल टास्क फोर्स, तृतीय केन्द्रीय रिजर्व पुलिस को दिया गया। असैन्य दल में प्रथम भूतपूर्व सैनिक, द्वितीय एनसीसी सीनियर बॉयस और तृतीय एनसीसी सीनियर गर्ल्स को दिया गया। कार्यक्रम का संचालन डॉ. अरविंद सोनी और सुश्री शिवांगी सिंह ने किया। धर्मेन्द्र, 26 जनवरी, 2025