अमरावती (ईएमएस)। आंध्र प्रदेश के यानम क्षेत्र से एक ऐसी ही परंपरा की खबर आ रही है, जो सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बन गई है। यहां एक व्यवसायी सत्य भास्कर ने अपनी बेटी और दामाद के लिए मकर संक्रांति के अवसर पर एक भव्य भोज आयोजित किया, जिसमें कुल 465 व्यंजन परोसे गए। यह भोज परिवार की पारंपरिक संस्कृति और दामाद के प्रति सम्मान का प्रतीक बना। मकर संक्रांति का पर्व भारतभर में धूमधाम से मनाया जाता है, लेकिन यानम में इसे एक विशेष तरीके से मनाया जाता है। इस दिन, नए दामाद का स्वागत करने के लिए ससुराल वाले एक विशाल भोज का आयोजन करते हैं, जिसमें उन्हें विविध व्यंजन परोसे जाते हैं। सत्य भास्कर ने भी अपनी बेटी हरिण्या और दामाद साकेत के लिए इस विशेष अवसर पर ऐसा ही एक भव्य भोज आयोजित किया। भोज में विभिन्न प्रकार की मिठाइयाँ, फल, सूखे मेवे, और अन्य व्यंजन केले के पत्तों पर सुंदर तरीके से सजाए गए थे। इन सभी व्यंजनों का स्वाद शाकाहारी था और इन्हें परंपरागत तरीके से तैयार किया गया था। भोज के दौरान परिवार के सभी सदस्य एकजुट होकर इस खुशी के पल का आनंद ले रहे थे, और यह दृश्य पूरी तरह से पारंपरिक आस्था और स्नेह को दर्शाता था। सत्य भास्कर ने इस अवसर पर एक 200 फीट लंबी उपलों की माला तैयार की, जिसे भोगी की आग में जलाया गया। इस आग पर सभी व्यंजन तैयार किए गए थे, और भोज के लिए खाद्य सामग्री को खासतौर पर इस तरह से तैयार किया गया था, जिससे त्योहार की पारंपरिक भावना बनी रहे। यह घटना परिवार की एकता, संस्कारों और परंपराओं के साथ-साथ दामाद के प्रति ससुरालवालों के सम्मान को भी प्रदर्शित करती है। इस भोज का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है, और लोग इसे भारतीय संस्कृति की गहरी जड़ों और रिश्तों के प्रति सम्मान का उदाहरण मान रहे हैं। यह घटना एक प्रेरणा के रूप में उभर रही है, जो परिवारों के बीच आपसी प्रेम और संबंधों को और मजबूत बनाने का काम करती है। बता दें कि भारतीय संस्कृति में दामाद की सेवा और सम्मान का विशेष स्थान है, और इसे लेकर विभिन्न क्षेत्रों में कई अनोखी परंपराएँ देखने को मिलती हैं। सुदामा नरवरे/ 16 जनवरी 2025