ज़रा हटके
16-Jan-2025
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नई दिल्ली (ईएमएस)। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि अधिक चिकनाई युक्त भोजन दिल, लिवर और शरीर के अन्य महत्वपूर्ण अंगों को गंभीर नुकसान पहुंचा सकता है। यह मोटापा, हृदय रोग और मधुमेह जैसी बीमारियों का मुख्य कारण बनता जा रहा है। चिकनाई युक्त भोजन का सेवन भले ही स्वाद के लिए लुभावना लगे, लेकिन इसके लंबे समय तक सेवन से स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव पड़ सकता है। चिकनाई वाले भोजन का सेवन दिल की नसों को संकुचित कर सकता है, जिससे रक्त प्रवाह बाधित होता है। इससे दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। अत्यधिक चिकनाई के कारण नसों में वसा जमने लगती है, जो हार्ट अटैक और स्ट्रोक का कारण बन सकती है। इसके अलावा, मोटापा एक प्रमुख समस्या बन गया है, जो खासतौर पर कम उम्र के बच्चों में तेजी से बढ़ रहा है। बच्चों की डाइट में फास्ट फूड और तले हुए खाद्य पदार्थ शामिल होने से यह समस्या और गहरी हो गई है। मधुमेह के खतरे को भी चिकनाई युक्त भोजन के सेवन से जोड़ा गया है। यह शरीर में शुगर लेवल को असंतुलित कर सकता है, जिससे इंसुलिन प्रतिरोध और टाइप 2 डायबिटीज का खतरा बढ़ जाता है। लिवर पर भी चिकनाई का प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। अत्यधिक वसा लिवर की कार्यक्षमता को बाधित करती है और फैटी लिवर जैसी समस्याएं उत्पन्न करती है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि चिकनाई से बचने के लिए संतुलित आहार और नियमित व्यायाम आवश्यक है। ताजे फल, सब्जियां, साबुत अनाज और लीन प्रोटीन को अपनी डाइट में शामिल करने से शरीर को आवश्यक पोषक तत्व मिलते हैं और वजन नियंत्रण में रहता है। तले हुए और अत्यधिक तेल युक्त भोजन से परहेज करना चाहिए। इसकी जगह स्टीम या ग्रिल किए गए खाद्य पदार्थों का सेवन करना स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद हो सकता है। नियमित व्यायाम और सक्रिय जीवनशैली भी महत्वपूर्ण है। एक्सरसाइज न केवल वजन को नियंत्रित करती है, बल्कि यह शरीर में ऊर्जा के स्तर को बढ़ाती है और स्वस्थ जीवन के प्रति जागरूकता भी बढ़ाती है। चिकनाई युक्त भोजन का नियमित और अधिक सेवन सेहत के लिए खतरनाक साबित हो सकता है। सुदामा/ईएमएस 16 जनवरी 2025