राष्ट्रीय
08-Jan-2025
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- धोखाधड़ी का आंकड़ा 7 से 8 हजार करोड़ तक जाने का अनुमान मुंबई, (ईएमएस)। टोरेस ज्वैलर्स नामक कंपनी ने सोने, चांदी और प्रयोगशाला में कृत्रिम तरिके से विकसित हीरों में निवेश पर अच्छा ख़ासा रिटर्न का लालच देकर हजारों निवेशकों को करोड़ों रूपये का चूना लगाया। प्रति माह निवेश रकम पर 10 प्रतिशत की दर से ब्याज देने वाली कंपनी ने रातोंरात सभी कार्यालय बंद कर दिए और जैसे ही घोटाला सामने आया, कई लोगों के पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई क्योंकि उन्होंने अपनी सारी जमा पूंजी कंपनी के झांसे में आकर निवेश कर दी थी। पुलिस ने मामले की तत्काल जांच शुरू कर दी है और बताया गया है कि टोरेस कंपनी ने करीब सवा लाख मुंबईवासियों को चूना लगाया है। इस पूरे मामले में कंपनी ने हजारों करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की। टॉरेस ज्वैलर्स कंपनी ने हजारों मुंबईवासियों को धोखा दिया और उन्हें कम समय में अच्छा रिटर्न देने का लालच दिया। इस लालच के कारण कई लोगों ने अपने घर और आभूषण गिरवी रखकर कंपनी में निवेश किया। जैसे-जैसे इस मामले की जांच आगे बढ़ रही है, अब धोखाधड़ी का आंकड़ा 7 से 8 हजार करोड़ तक जाने का अनुमान है। फिलहाल पुलिस ने ऐसे तीन लोगों को गिरफ्तार किया है जो मुंबई शहर में बड़ा घोटाला सामने आते ही शहर छोड़कर भागने की तैयारी में थे। इसमें कंपनी के डायरेक्टर, जनरल मैनेजर और स्टोर मैनेजर को गिरफ्तार किया गया है। वहीं कंपनी के संस्थापक के यूक्रेन भागने का अनुमान फिलहाल लगाया जा रहा है। कहा जाता है कि टोरेस कंपनी के संस्थापक जॉन कार्टर, विक्टोरिया कोवलेंको यूक्रेन भाग गए हैं। * कंपनी का डायरेक्टर एक आधार कार्ड ऑपरेटर बताया जा रहा है कि इस कंपनी का डायरेक्टर एक आधार कार्ड ऑपरेटर है। मूल रूप से मुंबई के रहने वाले सर्वेश अशोक सुर्वे एक आधार कार्ड ऑपरेटर है और उन्हें कंपनी का निदेशक बनाने के लिए उनके नाम, आधार कार्ड और डिजिटल हस्ताक्षर का इस्तेमाल किया गया था। पुलिस जांच से जो जानकारी सामने आई उसके मुताबिक उन्हें 22 हजार रुपये मासिक वेतन दिया जा रहा था। टोरेस का मुख्य इरादा एक कंपनी स्थापित करना और इतनी पूंजी इकट्ठा करना था कि नए साल में सभी कामकाज बंद करके भाग जाना था। कंपनी ने कुछ तकनीकी खराबी का हवाला देते हुए चरणबद्ध तरीके से इस सेवा को बंद करना शुरू कर दिया। 29 दिसंबर को ऑनलाइन सेवाएं बंद कर दी गईं और नकद भुगतान शुरू कर दिया गया। निवेशकों को भारी रिटर्न का लालच देकर उतनी ही बड़ी रकम भी निवेश कराई गई और एक ही पल में कंपनी तय रास्ते पर चलते हुए फरार हो गई। स्वेता/संतोष झा- ०८ जनवरी/२०२५/ईएमएस