नई दिल्ली (ईएमएस)। नंगे पैर बिना जूते-चप्पल के घास या पथरीले सड़कों पर चला जाए, तो इसके कई तरह के स्वास्थ्य लाभ हो सकते हैं। इसका मतलब है जमीन पर नंगे पांव चलना, लेटना, बैठना या व्यायाम करना। यह प्रक्रिया स्वास्थ्य के लिए कई तरह से लाभदायक हो सकती है। शरीर में होने वाली तरह-तरह की बीमारियां आदि से बचाव के लिए नंगे पैर चलना एक बेहद लाभदायक तरीका हो सकता है। नंगे पैर चलने से शरीर में बढ़ाने वाली सूजन, हार्मोन संबंधित असंतुलन और नींद की गुणवत्ता सुधारने में ग्राउंडिंग प्रक्रिया बेहद मददगार होती है। व्यायाम आदि करते समय अन्य एक्सरसाइज की तरह नंगे पैर चलना भी एक बेहतरीन एक्सरसाइज हो सकती है। ग्राउंडिंग प्रक्रिया शरीर की प्राकृतिक प्रतिरक्षा प्रणाली में सुधार करता है और मेटाबॉलिज्म बढ़ता है, जिससे शरीर में तनाव कम होता है। यह वजन कम करने में भी मददगार है। विशेषज्ञों के अनुसार धरती में फ्री इलेक्टरों की मौजूदगी होने से नेगेटिव इलेक्ट्रिकल चार्ज होता है। ऐसे में जमीन से जुड़ी क्रियाएं करते समय हम पृथ्वी तत्वों से सीधे संपर्क में आते हैं। इससे इन मुफ्त इलेक्ट्रोन में एंटीऑक्सीडेंट प्रभाव ही होता है, जो हानिकारक फ्री रेडिकल से बचाता है और हमें बेहतर नींद, कम तनाव, और अधिक ऊर्जा मिलती है। आयुर्वेद में भी ग्राउंडिंग प्रक्रिया को बेहद प्रभावी प्रक्रियाओं में से एक माना गया है आमतौर पर योगाभ्यास करते समय लोग जमीन पर नंगे पांव बैठकर ही आसनों और प्राणायाम को दोहराते हैं। जमीन पर कुछ देर लेटना भी बेहद फायदेमंद होता है। इसके लिए बाजार में मौजूद ग्राउंडिंग मैट की मदद ली जा सकती है। इससे धरती से शरीर का सीधा जुड़ाव होता है, जिससे शरीर को बेहतर परिणाम मिलते हैं। ग्राउंडिंग प्रक्रिया के तहत हर रोज घास पर 15 से 20 मिनट तक नंगे पांव चलना होता है। जमीन पर योगाभ्यास, ध्यान व स्ट्रेचिंग व्यायाम आदि किया जा सकता है। सुदामा/ईएमएस 31 दिसंबर 2024