चंडीगढ़(ईएमएस)। शिरोमणि अकाली के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल सजा सुनाए जाने के बाद गले में पट्टिका लटकाए व्हीलचेयर पर अमृतसर के स्वर्ण मंदिर पहुंचे। सजा के तहत उन्हें स्वर्ण मंदिर में सेवादार के रूप में काम करना होगा। उन्हें दरवाजे पर ड्यूटी करने के अलावा लंगर की सेवा भी करनी होगी। दरअसल, अकाल तख्त ने सत्ता में रहते हुए उनके द्वारा की गई गलतियों का हवाला देकर उन्हें सजा सुनाई है। उनसे जब सजा काटने के संबंध में सवाल किया गया, तो उन्होंने कहा कि यह मेरे लिए परमात्मा का हुक्म है और मैं इसका पालन करूंगा। मैं इसका पालन करने में किसी भी प्रकार की कोताही नहीं बरतूंगा। अपनी सजा के तहत वह श्री दरबार साहिब में सेवादार की ड्यूटी करेंगे। इसके बाद वह दो दिन श्री केशगढ़ साहिब, फिर दो दिन श्री दमदमा साहिब तलवंडी साबो, दो दिन श्री मुक्तसर साहिब और दो दिन श्री फतेहगढ़ साहिब में गले में तख्ती पहन और हाथ में बरछा लेकर सजा काटेंगे। सुखबीर सिंह बादल के पैर में अभी चोट लगी हुई है। इसी वजह से वह व्हीलचेयर पर बैठे हुए नजर आए। वह तीन दिसंबर से दो दिन के लिए गोल्डन टेंपल के घंटाघर के बाहर ड्यूटी करेंगे। इस दौरान, सुखबीर सिंह बादल के गले में तख्ती भी दिखाई दी। यह अकाल तख्त की तरफ से पहनाई गई माफी की तख्ती है। इसके साथ ही उनके हाथ में बरछा भी दिखाई दे रहा है। उनकी सजा शुरू हो चुकी है और फिलहाल, वो सजा निभा रहे हैं। इस दौरान, सुखदेव सिंह ढींडसा भी सजा काटने के लिए पहुंचे। उनके गले में भी तख्ती और हाथ में बरछा दिखाई दिया। वीरेन्द्र/ईएमएस 03 दिसंबर 2024