चंडीगढ़ (ईएमएस)। धान की खरीद और लिफ्टिंग में हो रही परेशानी को लेकर आम आदमी पार्टी ने एक बार फिर भाजपा और केंद्र सरकार पर हमला बोला है। आप सांसद मलविंदर सिंह कि इस बार केन्द्र सरकार ने पंजाब के किसानों को परेशान करने के लिए जानबूझकर गोदाम खाली नहीं करवाए। कंग ने कहा कि यह खाद्य आपूर्ति मंत्रालय भारत सरकार की रूटीन प्रक्रिया है कि एफसीआई हर साल मंडियों में अनाज आने से पहले अपने गोदामों से पुराने अनाजों को उठा लेती है ताकि अनाज शिफ्टिंग के लिए जगह खाली रहे। यह काम कोई साल दो साल से नहीं चल रहा है बल्कि दशकों से यही प्रक्रिया चलते आ रही है। मंगलवार को पार्टी कार्यालय चंडीगढ़ में आप नेता जगदीप सिंह काका बराड़ और शमिंदर खींडा के साथ मीडिया को संबोधित करते हुए कंग ने कहा कि इस बार केन्द्र सरकार ने पंजाब के किसानों को परेशान करने के लिए जानबूझकर गोदाम खाली नहीं करवाए। अब जब विवाद बढ़ गया और केंद्र सरकार फंसने लगी है तो वह अपने मंत्री रवनीत बिट्टू के जरिए झूठ बोलकर पंजाब के लोगों को गुमराह कर रही है। भाजपा ने जानबूझकर यह विवाद पैदा किया है। कंग ने सवाल करते हुए कहा कि भाजपा नेता बोल रहे हैं कि मुख्यमंत्री खुद दिल्ली जाकर क्यों नहीं मामले को सुलझा रहे हैं, क्या भाजपा यह चाहती है कि पंजाब के मुख्यमंत्री गोदाम खाली कराने के लिए प्रधानमंत्री के पैर पकड़े? अगर वे यही चाहते हैं तो खुलकर बोलें कि मुख्यमंत्री जब प्रधानमंत्री के पैर पकड़कर मिन्नतें करेंगे तभी मामले का समाधान होगा। कंग ने कहा कि मार्च से ही पंजाब का फूड सप्लाई डिपार्टमेंट एफसीआई और केन्द्रीय मंत्रालय को पत्र लिख रहा था और अनाज खाली करने की अपील कर रहा था लेकिन केंद्र सरकार 9 महीने तक कुंभकरण की नींद सोती रही। कंग ने दिनांक के साथ बताया कि पंजाब के फूड सप्लाई विभाग ने पहली बार 5 मार्च को एफसीआई को पत्र लिखा, फिर 11 मार्च, 13 मार्च, 19 मार्च और 22 मार्च को लिखा। जून में दो बार 14 और 27 तारीख को पत्र लिखा। 03 सितंबर को भी लिखा। अफसरों के पत्राचार के बाद खुद मुख्यमंत्री भगवंत मान ने 25 सितंबर को केंद्रीय मंत्री प्रहलाद जोशी से फोन पर बात की और 30 सितंबर को उनसे दिल्ली में मुलाकात की। उसके बाद मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह और केन्द्रीय मंत्री जेपी नड्डा से भी मुलाकात की। अब और किससे मुलाकात करें यह भाजपा वाले बता दें। कंग ने कहा कि मुख्यमंत्री से मुलाकात के बाद अक्टूबर में प्रहलाद जोशी ने कहा कि अक्टूबर में 20 लाख मीट्रिक टन खाली कर देंगे, जबकि कुल 185 लाख मीट्रिक टन फसल मंडियों में आने है। सवाल है कि उन्होंने समय रहते क्यों नहीं खाली करवाए? कंग ने कहा कि भाजपा नेता 44000 करोड़ सीसीएल जो आरबीआई द्वारा हर साल धान खरीदने के लिए जारी किया जाता है, उसे भी भाजपा वाले एहसान की तरह दिखा रहे हैं। कंग ने कहा कि दरअसल केन्द्र सरकार अपनी नाकामी छुपाने के लिए पंजाब सरकार को बदनाम करना चाह रही है जबकि खरीद और रखरखाव की पंजाब सरकार की कोई जिम्मेदारी नहीं है। सारी की सारी जिम्मेदारी केन्द्र सरकार की है। दरअसल भाजपा ने पंजाब के किसानों आढ़तियों से बदला लेने और परेशान करने के मकसद से जानबूझकर ऐसा किया है। यह पंजाब के प्रति उसका सौतेला व्यवहार को दर्शाता है। कंग ने 28 अक्टूबर को 5 लाख मिट्रिक टन अनाज की लिफ्टिंग के लिए पंजाब सरकार और राज्य के अफसरों की तारीफ की और कहा कि केंद्र सरकार चाहे लाख परेशानी पैदा कर दे, पंजाब सरकार अपने किसानों, आढ़तियों और शेलर मालिकों को दिक्कत नहीं आने देगी। हम उनके साथ खड़े हैं। धीमी अनाज लिफ्टिंग के कारण पंजाब के किसानों- आढ़तियों और शेलर मालिकों को हो रही परेशानी को लेकर आम आदमी पार्टी, पंजाब के महासचिव और मंडी बोर्ड के चेयरमैन हरचंद सिंह बरसट ने भी केन्द्र सरकार की कड़ी आलोचना की है। बरसट ने कहा कि केन्द्र सरकार पंजाब के किसानों-आढ़तियों को लगातार परेशान कर रही है। केन्द्र शेलर मालिकों की मांगों को नहीं सुन रहा है और पंजाब की मंडियों में पड़े लाखों टन अनाज उठाने से इन्कार कर रही है। इसका नुकसान पंजाब के किसानों आढ़तियों और शेलर मालिकों तीनों को हो रहा है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की नीति बदलाखोरी वाली है। वह जानबूझकर कर धीमी लिफ्टिंग कर रही है ताकि किसानों आढ़तियों को परेशानी हो। उन्होंने कहा कि भाजपा पंजाब के किसानों से किसान आंदोलन का बदला ले रही है। यह बेहद निंदनीय है। बरसट ने बताया कि केंद्र की पंजाब विरोधी नीतियों के खिलाफ आम आदमी पार्टी (आप) बुधवार (30 अक्टूबर) को पंजाब भाजपा कार्यालय (चंडीगढ़, सेक्टर -37) के सामने विरोध प्रदर्शन करेगी। बरसट ने पंजाब के लोगों से विरोध प्रदर्शन में भारी संख्या में शामिल होने और बुधवार सुबह 11:00 बजे सेक्टर -37 के बत्रा थियेटर के पास इकट्ठा होने की अपील की है । उन्होंने कहा कि बत्रा थियेटर से सभी लोग भाजपा कार्यालय की तरफ कूच करेंगे और विरोध प्रदर्शन के माध्यम से केन्द्र सरकार को अपना संदेश भेजेंगे। जग मोहन ठाकन/29/10/2024