राज्य
22-Oct-2024
...


:: रेसकोर्स रोड़ स्थित मोहता भवन में श्रावक-श्राविकाओं ने लिया प्रवचनों का लाभ :: इन्दौर (ईएमएस)। जिसके हृदय में प्रभु भक्ति समाई होती है। उसके आभामंडल का प्रभाव ही कुछ ऐसा होता है कि चमत्कारिक घटनाएं घटती है। उक्त विचार संत शिरोमणि आचार्य गुरुदेव विद्यासागर महामुनिराज के शिष्य मुनि प्रमाण सागर महाराज ने भक्तामर स्त्रोत्र के अड़तीसवे छंद की व्याख्या करते हुए व्यक्त किए। मुनि प्रमाण सागर ने अपने प्रवचनों में कहा कि आजकल के किसी भी बाहरी चमत्कार पर विश्वास नहीं करता लेकिन प्रभु की निश्चल भक्ति के कई चमत्कार सामने आए हैं तो मैं ऐसा मानता हूं कि जिसके हृदय में प्रभु भक्ति समाई होती है उनका पुण्य गाड़ा होता है और जिसका पुण्य गाड़ा होता है उसके आभामंडल से ही चमत्कार घटित होते है। आचार्य मानतुंग प्रभु की भक्ति में उस चरम सीमा तक लीन है उनके मुख से जो भी छंद मुखरित हो रहे है वह किसी मंत्र से कम नहीं है। धर्म प्रभावना समिति एवं प्रचार प्रमुख राहुल जैन एवं प्रवक्ता अविनाश जैन ने बताया कि आचार्य मानतुंग ने उपरोक्त भक्तामर स्त्रोत्र की रचना की जिसकी व्याख्या मुनिश्री के मुखारविंद से संपन्न होंने जा रही है जिसका प्रकाशन दीपावली के पश्चात पूर्ण होकर विजय नगर इन्दौर में आगामी 7 से 15 नवंम्बर के बीच श्री सिद्धचक्र महामंडल विधान के बीच विमोचन होगा। 16 नबम्वर को 108 श्री जी के साथ विशाल रथ यात्रा एवं 17 नबम्वर को मुनिसंघ का पिच्छिका परिवर्तन समारोह आयोजित है। धर्म प्रभावना समिति के मीडिया प्रभारी राहुल जैन अध्यक्ष अशोक डोसी,मुकेश पाटौदी, स्वागत अध्यक्ष नवीन आनंद गोधा महामंत्री हर्ष जैन तथा प्रवक्ता अविनाश जैन सहित समस्त पदाधिकारिओं ने इन्दौर शहर तथा संपूर्ण भारत के सभी श्रद्धालुओं से निवेदन किया है कि आगामी श्री सिद्धचक्र महामंडल विधान रथयात्रा तथा पिच्छिका परिवर्तन समारोह में अपनी सहभागिता अवश्य दर्ज कराएं। उमेश/पीएम/22 अक्टूबर 2024